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ईवीएम की निगरानी के लिए लगे कैमरे बन्द होने से सुरक्षा पर उठे सवाल

गाजियाबाद। गोविंदपुरम स्थित अनाज मंडी के स्ट्रांग रूम में अत्याधुनिक हथियारों के बीच हो रही ईवीएम मशीनों की निगरानी को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं। राजनीतिक पार्टियों के अभिकर्ता ने ईवीएम मशीनों की सीसीटीवी ऑनलाइन की फुटेज कुछ समय के लिए दो बार बंद होने का आरोप लगाया है और गड़बड़ी का अंदेशा जताया है। हालांकि जिलाधकारी निकल बड़ी की बात से इनकार करते हुए कहा है कि सीसीटीवी फुटेज का बैकअप लेने के लिए कुछ समय के लिए डिस्प्ले बंद हुआ था लेकिन बाद में सुचारू हो गया।
आपको बता दें कि गाजियाबाद की पांचों विधानसभा सीट और आंशिक धौलाना की ईवीएम मशीनें गोविंदपुरम स्थित अनाज मंडी के स्ट्रांग रूम में रखी हुई है, जिनकी सुरक्षा पैरामिलिट्री फोर्स कर रही हैं। ईवीएम मशीनों की सीसीटीवी फुटेज भी राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं की निगरानी में है। लेकिन रविवार को दो बार टीवी स्क्रीन पर आ रही ऑनलाइन फुटेज बंद हो गई, जिस पर राजनीतिक दलों के लोग सवाल खड़े कर रहे हैं। इस मामले में लोनी विधानसभा सीट के राष्ट्रीय लोक दल प्रत्याशी मदन भैया के निगरानी अभिकर्ता राहुल ने सोशल मीडिया पर पोस्ट डाल कर कहा है कि 19 फरवरी 2022 स्ट्रांग रूम में EVM की निगरानी के लिए जो कैमरे लगाये गए, उसका डिस्प्ले निगरानी अभिकर्ता को देखने के लिए लगाया हैं। रविवार शाम समय 17 बजकर 5 मिनट से 18 बजकर 17 तक व 21:45 से 23:30 तक डिस्प्ले बन्द रहा। जिस कारण निगरानी अभिकर्ताओं को अंदेशा हैं कि कुछ गड़बड़ी न की जा रही हो। इस पोस्ट के बाद मदन भैया के अभिकर्ता की ओर से मांग की जा रही है कि स्टाफ रूम की सुरक्षा के लिए राजनीतिक दलों के सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं ताकि वह ईवीएम पर खुद नजर रख सकें।
दूसरी ओर इस संबंध में जब जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह से बात की गई तो उन्होंने बताया कि सीसीटीवी का बैकअप लेने के लिए कुछ समय के लिए टीवी की स्क्रीन पर फुटेज बंद हुई थी, लेकिन अब निर्देशित किया गया है कि दिन के समय सीसीटीवी की फुटेज का बैकअप लिया जाए और बैकअप लेते समय इसकी जानकारी निगरानी अभिकर्ता आरओ को भी दी जाए।
उधर लोनी विधानसभा कि रालोद प्रत्याशी मदन भैया ने कहां की यह बहुत गंभीर मामला है। सीसीटीवी की फुटेज बंद होने से गड़बड़ी की आशंका बढ़ गई है और इस संबंध में प्रशासन द्वारा पहले कोई जानकारी नहीं दी गई थी। उन्होंने इस मामले की शिकायत केंद्रीय चुनाव आयोग से करने की भी बात कही है।